सिद्धार्थनगर – जनपद में पिछले एक माह से जनपद के नगरीय क्षेत्र लेकर ग्रामीण इलाकों तक फैलने वाला एक बुखार अब रहस्यमयी बन गया है।
आपको बताते चलें कि प्रदेश में जहां इस तरह के बुखार फैलने के समाचार मिल रहे हैं, वही पिछले एक माह से जनपद में भी एक रहस्यमयी बुखार ने अपनी उपस्थिति दर्ज कर रखी है। बच्चे युवा और वृद्ध व्यक्तियों तक के लोग इस बुखार की चपेट में आ रहे हैं।
पहले लोगों को आशंका थी कि शायद यह टाइफाइड है किन्तु जांच कराने पर टाइफाइड या मलेरिया कुछ भी नहीं निकलता है जबकि इस बुखार के सारे लक्षण इसी से मिलते जुलते हैं। वहीं कुछ विशेषज्ञों के अनुसार इस बुखार को स्क्रब टायफस कहा जा रहा है।
जो की एक बैक्टीरिया के संक्रमण से फैल रहा है एक जानकारी को मुताबिक मलेरिया डेंगू और चिकनगुनिया जैसे बुखारों जैसे लक्षण वाला यह बुखार थ्राम्बोसाइटोपेनिक माइट्स या चिगर नामक कीड़े के लार से फैल रहा है। इसके लार में मिलने वाले बैक्टीरिया से ही यह बुखार फैल रहा है।
अधिकांश डॉक्टर डेंगू मलेरिया और चिकनगुनिया जैसे लक्षणों को देखते हुए इसी का इलाज कर रहे हैं जबकि इस इलाज के बावजूद भी बुखार दस या पन्द्रह दिनों तक बना रहता है। देखा जाए तो जनपद में जगह-जगह कूड़ों और गन्दगियों का ढेर लगा हुआ है, जो कि इस तरह की बीमारियों को जन्म देने का एक सशक्त माध्यम है।
गलियों और वार्डो में साफ सफाई की पूर्ण व्यवस्था न होने पर जगह-जगह कूड़ों और नालियों में जमे हुए पानी से इस तरह के रोगों का पनपना संभव हो सकता है। वहीं नगरपालिका इस ओर से लापरवाह बनी हुई है और यही कारण है इस रहस्य में बुखार के चपेट में बच्चे जवान और वृद्धि सभी आ रहे हैं।
जानकारी के मुताबिक समय से सही इलाज न मिलने के कारण इस बुखार से मौत की संभावना से भी इनकार नहीं किया जा सकता है।