प्रेम के प्रतीक – विद्युत स्पर्शाघात से दो सारसो की मौत

सारसों को प्रेम का प्रतीक माना जाता है इन्हें कभी कोई अकेला नहीं देखता हमेशा अपने जोड़े के साथ होते हैं यदि दुर्भाग्यवश जोड़े में से किसी एक के साथ कोई अप्रिय घटना में मौत हो जाये तो दूसरा साथी सारस अपना जान खुद दे देता है।

देवेन्द्र श्रीवास्तव

उसका बाजार सिद्धार्थनगर।मुकामी थानाक्षेत्र के बरदहा गाँव के टोला श्रीनगर में शनिवार को विद्युत स्पर्शाघात से दो राजकीय पक्षी सारस की मौत हो गई। वनकर्मियों ने दोनों सारस को दफना दिया। ग्रामीण अवधराज के मुताबिक तीन सारस उड़ते हुए जा रहे थे, तभी ऊपर से गुजर रहे 33 हजार वोल्ट के हाई टेंशन तार से एक सारस टकरा गया, जिससे वह झुलस कर जमीन पर गिर गया।

इसी बीच दूसरे सारस को भी हल्का झटका लगा, वह भी लड़खड़ाते हुए जमीन पर गिर गया। ग्रामीण जब तक वहां पहुंचते तब तक एक सारस ने दम तोड़ दिया। दूसरे सारस को बचाने का प्रयास ग्रामीणों ने किया लेकिन जैसे ही सारस अपने मृत जोड़ीदार के पास पहुंचा तो कुछ देर बाद उसने भी दम तोड़ दिया।

जानकारो का कहना है कि अगर सारस पक्षी के जोड़ी में किसी एक की मृत्यु हो जाती है तो दूसरा अपने आप मर जाता है। इनके साथ उड़ रहे तीसरा छोटा सारस भी वहां से कुछ देर बाद उड़ गया।

इससे अनुमान लगाया जा रहा है कि तीसरा सारस इसी जोड़ी का बच्चा रहा होगा। वन दारोगा निखिल श्रीवास्तव ने बताया कि सूचना मिलने पर वन कर्मी मौके पर पहुंच सम्मान सहित उन दोनों सारसो को दफना दिया है। 

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