महापुरुषों के जीवन पर आधारित निबंध प्रतियोगिता का हुआ आयोजन
जे पी गुप्ता
सिद्धार्थनगर। आजादी का अमृत महोत्सव के अंतर्गत अंतर्राष्ट्रीय संग्रहालय सप्ताह के अवसर पर राजकीय बौद्ध संग्रहालय पिपरहवा सिद्धार्थनगर द्वारा स्थानीय विद्यालय के छात्र-छात्राओं के लिए,भारत के महापुरुषों के जीवन पर आधारित महात्मा गांधी, पंडित जवाहरलाल नेहरू, मदन मोहन मालवीय, डॉक्टर भीमराव अंबेडकर आदि विषय पर निबंध प्रतियोगिता का आयोजन किया गया।
प्रतियोगिता कक्षा 8 से 10 तक के छात्र छात्राओं के मध्य आयोजित कराई गई। प्रतियोगिता में गौतम बुद्ध बाल विद्या मंदिर अलीगढ़वा सिद्धार्थनगर के 60 छात्र छात्राओं ने प्रतिभागिता की। प्रतियोगिता में सम्मिलित सभी प्रतिभागियों ने पूर्ण रूचि एवं मनोयोग से अपने वांछित विषय पर निबंध लिखें। प्रतियोगिता के प्रतिभागी छात्र-छात्राओं द्वारा रचित निबंध में से निर्णायक मंडल द्वारा 11 प्रतिभागियों का चयन किया गया |
जिन्हें प्रथम द्वितीय तृतीय एवं 8 छात्रों को सांत्वना पुरस्कार एवं प्रमाण पत्र प्रदान दिए गए। गौतम बुद्ध बाल विद्या मंदिर अलीगढ़वा सिद्धार्थनगर के बच्चों द्वारा प्रथम पुरस्कार रीता पाठक द्वितीय पुरस्कार आशीष जायसवाल तृतीय पुरस्कार अमन जयसवाल, सांत्वना पुरस्कार क्रमशः रशीद अहमद, रोशनी कसौधन, सरफराज अहमद, रिफअत सिराज, मेहताब आलम, गौतम प्रजापति, सलमान खान, अफजल कमाल, को प्रदान किया गया।
पुरस्कार वितरण समारोह के मुख्य अतिथि के रूप में जायसवाल प्रबंधक गौतम बुद्ध बाल विद्या मंदिर अलीगढ़वा के प्रबंधक गुरु प्रसाद ने चयनित प्रतिभागियों को पुरस्कार स्वरूप जमेट्री बॉक्स एवं प्रमाण पत्र वितरित किया। श्री जयसवाल ने छात्र छात्राओं को संबोधित करते हुए कहा कि निबंध जैसी प्रतियोगिताओं से लेखन शैली एवं भाषा में विकास होता है कार्यक्रम में अजय कुमार जयसवाल, दिलीप कुमार पांडे, श्री कृष्ण, अनिल कुमार पाठक, रूद्रदेव पांडे, शिवकुमार, कुसुम लता, मैनावती,स्नेह लता,आदि शिक्षक गण उपस्थित रहे।
संग्रहालय के संग्रहालयध्यक्ष डॉ0 तृप्ति राय ने मुख्य अतिथि एवं गुरुजनों के प्रति आभार व्यक्त करते हुए कहा कि स्वतंत्रता आंदोलन में महापुरुषों की भूमिका अग्रणी रही तथा भारतवर्ष को अपने चरमोत्कर्ष पर पहुंचाने का अपना योगदान इन महापुरुषों ने प्रदान किया। प्रतियोगिता में प्रतिभाग करने वाले छात्र-छात्राओं में अभिरुचि उत्पन्न करने के लिए इस प्रकार के आयोजन भविष्य में भी किए जाते रहेंगे।