📅 Published on: March 29, 2023
kapilvastupost reporter
सिद्धार्थनगर। जिला एवं सत्र न्यायाधीश संजय कुमार मलिक ने दहेज उत्पीड़न एवं दहेज हत्या के दोषी रामप्रकाश पुत्र चुरिहारी को आजीवन कारावास की सजा सुनाते हुए 10 हजार रुपयों के अर्थदण्ड से भी दण्डित किया है। मामला चिल्हिया थानाक्षेत्र के ग्राम बर्डपुर नं 13 टोला जीतपुर का है।
मोहाना थानाक्षेत्र के ग्राम बर्डपुर टोला बर्डपुर निवासिनी मिथिलेश पत्नी खुनखुन ने चिल्हिया थाने पर तहरीर देकर कहा कि उसने अपनी लड़की साधना की शादी वर्ष 2016 में ग्राम बर्डपुर नं 13 टोला जीतपुर निवासी राम प्रसाद पुत्र चुरिहारी से किया था।
ससुरालीजन शादी से ही दहेज की माँग करते हुए उसकी लड़की को शारीरिक व मानसिक रूप से प्रताड़ित करते रहे और मोटरसाइकिल एवं 50 हजार रुपये नकद मांगते थे। काफी समझाने बुझाने पर भी नहीं माने। मई माह में दहेज को लेकर उनलोगों ने काफी मारापीटा जिसके लिए ससुरालीजनों को बहुत समझाया बुझाया गया किन्तु वे लोग कोई भी बात सुनने को तैयार नहीं थे।
उनलोगों ने कहा कि हमलोगों की मांग पूरी नहीं हुई तो हमलोग तुम्हारी लड़की के साथ कोई न कोई अनहोनी कर देंगे। 5 जून 2017 को उसे सूचना मिली कि उसकी लड़की साधना को उसके ससुराल वालों ने कमरे में बन्द कर मिट्टी का तेल डालकर जला दिया है। आनन फानन वह अपने पति व रिश्तेदारों के साथ साधना के ससुराल में पहुँची तो पति रामप्रकाश घर में घुसने नहीं दे रहा था किसी प्रकार वे लोग घर में गए तो साधना काफी जली हुई थी जिसने रोते रोते बताया कि उसके पति रामप्रकाश, ससुर चुरिहारी, सास जीरा देवी, जेठ बब्लू व जेठानी मीना देवी ने जबरिया पकड़कर मिट्टी का तेल छिड़क कर जला दिया है।
वह तुरन्त एम्बुलेंस बुलाकर जिला अस्पताल ले गयी जहाँ भर्ती कराकर इलाज करा रही है। उसकी पुत्री लगभग 51 प्रतिशत जल चुकी है। उसकी स्थिति नाजुक है। साधना का बयान मजिस्ट्रेट ने दर्ज कर लिया है। दौरान विवेचना पीड़िता की मृत्यु हो गयी। पुलिस ने घटना का एफआईआर दर्ज कर विवेचना किया और विवेचना के बाद आरोपी के विरुद्ध दहेज हत्या और प्रताड़ना व मारपीट के अपराध में आरोपपत्र न्यायालय में दाखिल किया।
न्यायालय ने मामले का संज्ञान लेते हुए विचारण प्रारम्भ किया। विचारण के दौरान उपलब्ध साक्ष्यों, पोस्टमार्टम रिपोर्ट, मृत्युकालिक कथन और मामले के तथ्यों एवं परिस्थितियों के आधार पर पति को दोषी ठहराया।
सजा के बिंदु पर सुनवाई करके न्यायालय ने पति रामप्रकाश को आजीवन कारावास की सजा सुनाते हुए 10 हजार रुपयों के अर्थदण्ड से भी दण्डित किया है। राज्य सरकार की तरफ से पीड़ित पक्ष की पैरवी जिला शासकीय अधिवक्ता अखिलेश नारायण श्रीवास्तव ने किया। अर्थदण्ड अदा न करने की दशा में दोषी को 3 माह के अतिरिक्त कारावास की सजा भुगतनी होगी।