वैसे तो सिद्धार्थ नगर जनपद का नाम पिछड़े जिले में लिया जाता है लेकिन इस जिले में काम बहुत एडवांस ही होते हैं जनपद में फर्जी मार्कशीट के आधार पर सैकड़ों टीचर इसी जिले में पढ़ा कर चला गए फर्जी जाती प्रमाण पत्र पर नौकरी और अन्य सरकारी लाभ जनपद में लेना बहुत ही आसानी से मिल जाता है | सब कुछ संभव है भगवन बुद्ध की स्थली में |
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सिद्धार्थनगर –
इटवा तहसील क्षेत्र के पतिला गांव में अनुसूचित जाति के फर्जी प्रमाण पत्र पर चल रहे राशन की दुकान को शिकायतकर्ता के शिकायत पर जिला प्रशासन ने जाति प्रमाण पत्र को किया खारिज कर दिया है |
गाँव निवासी देवव्रत चौधरी पुत्र अमरनाथ चौधरी अनुसूचित जाति का फर्जी जाति का प्रमाण पत्र बनाकर चला रहा था राशन की दुकान शिकायतकर्ता की शिकायत पर जिला प्रशासन ने जांच कर प्रमाण पत्र को किया निरस्त कर दिया है |
शिकायतकर्ता ने आरोप लगया कि फर्जी जाती प्रमाण पत्र के आधार पर गांव के पांच लोगों पर एससी/एसटी में दर्ज करवा चूका है मुकदमा|
शिकायत करता ने यह भी आरोप लगाया कि जाली दस्तावेजों के आधार पर अमरनाथ चौधरी के द्वारा अपनी दूसरी पत्नी रेखा को जंगी चौधरी की पत्नी दिखाकर संपत्ति हड़पने की कोशिश कर रहा है |
जंगी चौधरी की पत्नी प्रभावती को कागजात में दिखाया मृतक अपनी पत्नी रेखा को दिखाया जंगी चौधरी का वारिस |
विवेकानंद व देवव्रत चौधरी फर्जी जाति प्रमाण पत्र के आधार पर कई लोगों के ऊपर एससी /एसटी में दर्ज कराया है मुकदमा धोखाधड़ी कर सरकारी जमीन पर कराया पट्टा फर्जी तरीके से चला रहा राशन की दुकान|
सरकारी आवास का भी लिया लाभ शिकायतकर्ता का आरोप विवेकानंद व देवव्रत के खिलाफ जिला प्रशासन नहीं कर रहा कानूनी कार्रवाई गांव के लोगों के साथ 27 तारीख को डीएम कार्यालय पर दूंगा धरना|
इटवा तहसील क्षेत्र के पतिला गांव का है पूरा मामला सिद्धार्थनगर अनुसूचित जाति के फर्जी प्रमाण पत्र पर चला रहा था राशन की दुकान शिकायतकर्ता के शिकायत पर जिला प्रशासन ने जाति प्रमाण पत्र को किया खारिज|