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परमात्मा उपाध्याय की रिपोर्ट
कपिलवस्तु, नेपाल: नेपाल बिजली प्राधिकरण (NEA) के कार्यकारी निदेशक कुलमान घिसिंग की बर्खास्तगी के खिलाफ कृष्णनगर नगर पालिका वार्ड नंबर 3 में समाजवादी मोर्चा के नेतृत्व में विरोध प्रदर्शन किया गया। इस दौरान प्रदर्शनकारियों ने प्रधानमंत्री और ऊर्जा मंत्री का पुतला जलाकर सरकार के इस फैसले का कड़ा विरोध जताया।
घिसिंग की बर्खास्तगी पर जनता का आक्रोश
प्रदर्शन में शामिल लोगों ने इसे नेपाल की ऊर्जा प्रगति के खिलाफ साजिश करार दिया। वरिष्ठ माओवादी नेता मौलाना मशहूद खां नेपाली ने कहा कि यह आंदोलन केवल कुलमान घिसिंग के समर्थन में नहीं, बल्कि हर नेपाली नागरिक के अधिकारों की रक्षा के लिए है।
उन्होंने कहा, “जब नेपाल 18 घंटे की लोडशेडिंग से जूझ रहा था, तब कुलमान घिसिंग ने अपनी काबिलियत से देश को ऊर्जा संकट से बाहर निकाला और नेपाल को आत्मनिर्भर बनाया। उनकी बर्खास्तगी न केवल गलत, बल्कि देश के विकास के खिलाफ एक साजिश है।”
नेपाली जनता के हितों के खिलाफ फैसला
इंतखाब अहमद खान, अध्यक्ष एकीकृत समाजवादी कृष्णनगर, ने कहा,
“हम सिर्फ एक राजनीतिक आंदोलन नहीं चला रहे, बल्कि यह संघर्ष हर नेपाली नागरिक के अधिकारों की रक्षा के लिए है। जब नेपाल की 58% जनता तक बिजली पहुंचाने की उम्मीद टूट गई थी, तब कुलमान घिसिंग ने इसे 99% लोगों तक पहुंचाया।”
उन्होंने सरकार से बर्खास्तगी वापस लेने की मांग करते हुए कहा, “हम तब तक संघर्ष जारी रखेंगे, जब तक न्याय नहीं मिलता।”
माओवादी नेताओं का सख्त रुख
माओवादी केंद्र कृष्णनगर के अध्यक्ष जावेद आलम खान ने कहा कि कुलमान घिसिंग ने नेपाल के ऊर्जा क्षेत्र में जो सफलता हासिल की, वह हर नागरिक के लिए प्रेरणादायक है। उन्होंने चेतावनी देते हुए कहा,
“इस गलत फैसले का खामियाजा नेपाल की जनता को उठाना पड़ेगा, और हम इसे स्वीकार नहीं करेंगे।”
आंदोलन जारी रखने की घोषणा
समाजवादी नेता शाह नवाब ने कहा कि यह आंदोलन केवल कुलमान घिसिंग के लिए नहीं, बल्कि नेपाल के उज्जवल भविष्य के लिए है। उन्होंने कहा,
“हम चाहते हैं कि हर सरकारी निर्णय जनता के हित में हो। अगर सरकार अपने इस फैसले को वापस नहीं लेती, तो हम अपना आंदोलन तेज करेंगे।”
सरकार पर दबाव बढ़ा
यह प्रदर्शन नेपाल में बढ़ते जनाक्रोश को दर्शाता है। कुलमान घिसिंग की बर्खास्तगी से नाराज जनता सड़क पर उतरकर सरकार से जवाब मांग रही है। अब यह देखना दिलचस्प होगा कि क्या सरकार इस दबाव में झुकेगी या विरोध और तेज होगा।